शुक्रवार, 17 सितंबर 2010

खुश होता है दिल ...

जब वतन की बात चलती है तो खुश होता है दिल ,
जब अमन की बात चलती है तो खुश होता है दिल ।

देश पर गन्दी नज़र डाले सदा उस शख्स के,
जब दमन की बात चलती है तो खुश होता है दिल ।

द्वैष, नफ़रत की भड़कती जा रही इस आग के,
जब शमन की बात चलती है तो खुश होता है दिल ।

कान फ़ोढू शोर वाले गीत के आगे कभी,
जब भजन की बात चलती है तो खुश होता है दिल ।

फ़ूल खूशबू बाँटते निस्वार्थ हो ऐसे किसी
जब चमन की बात चलती है तो खुश होता है दिल ।

यूं तो बातें हैं बहुत दुल्हन के जीवन में मगर,
जब सजन की बात चलती है तो खुश होता है दिल ।

लिख के मुंशी जी गए हैं सब कथाएं श्रेष्ठ, पर,
जब कफ़न की बात चलती है तो खुश होता है दिल ।

1 टिप्पणी:

  1. sharad ji namaste aapka blog dekhkar prasannata hui , sabhi gajle bahut sundar , badhai aapko

    shabd varification hata le yahan se .pareshani hoti hai usase

    जवाब देंहटाएं